मेरे चूल्हा जलाने से जो धुआँ निकलता है, मुझे कभी नहीं पता था कि मैं इतना बुरा काम कर रही हूं। मेरे 4 साल के बच्चे और मेरे पेट के बच्चे दोनों पर बहुत बुरा असर हो रहा है अब मुझे समझ में आया। ये जानकर मुझे काफ़ी चिंता हो रही है, ग़ुस्सा भी आ रहा है और बहुत दुःख भी हो रहा है। अब मैं क्या करूं। और कोई रास्ता भी नहीं है मेरे पास। खाना कैसे पकाऊँ? पानी कैसे गरम करूँ? कोविड के दौरान में हम लोगों का काम छुट गया। घर में कुछ राशन भरने के लिए पैसे नहीं थे। जो भी थोड़ा चावल या आटा बचा था उससे बच्चों को हर दिन खिलाते थे और कई बार हमारे लिए कुछ नहीं बचता था तो हम सिर्फ़ पानी पी कर सो जाते थे। हमारे बच्चे सारा समय गंदगी और कचरे में खेले लेकिन उनको कोरोना नहीं हुआ। ऐसे ही बड़े हो रहे हैं। हम क्या करें। हम पढ़े लिखे नहीं हैं, काम नहीं है, मेरे पेट में 7 महीने का बच्चा है। अब मैं क्या काम करूं, कैसे पैसे कमाऊँ? प्रदूषित हवा में सांस लेकर मैं यहां पर बड़ी हुई हूं लेकिन मैं नहीं चाहती कि मेरे बच्चे ऐसे वातावरण में पले बढ़ें। मेरा भी सपना है की वो आपके बच्चों के जैसे अंग्रेज़ी स्कूल में जाएँ, अच्छे से पढ़ें, कॉलेज जाएँ, अच्छी नौकरी करें, लेकिन अभी मैं पैसे कहां से लाऊं? हम एलपीजी सिलेंडर भी इसलिए नहीं ले सकते क्योंकि हर महीने इतना महँगा रिफिल कैसे करेंगे? 900 रुपये का रिफिल तो हम सपने में भी नहीं सोच सकते। आप ही बताओ, जीने के लिए खाना तो होगा, इसलिये मैं चूल्हा जलाती हुँ। हाँ, मेरी आंखें जलती हैं, आंखों से पानी निकलता है और आंखें लाल हो जाती हैं, काफ़ी खांसी आती है और सांस लेने में तकलीफ भी होती है लेकिन कम से कम चूल्हा लकड़ी से जला लेते हैं, गैस सिलेंडर जितना महँगा तो नहीं है।